सायरस मिस्त्री मामले में नेशनल कंपनी लॉ अपीलेट ट्रिब्यूनल (एनसीएलएटी) के फैसले के खिलाफ रतन टाटा ने भी शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट में अपील दायर कर दी। रतन टाटा ने दलील दी है कि अपीलेट ट्रिब्यूनल ने उन्हें बिना तथ्यों या कानूनी आधार के दोषी ठहरा दिया। बता दें मिस्त्री को अक्टूबर 2016 में टाटा सन्स के चेयरमैन पद से हटाने के मामले में ट्रिब्यूनल ने बीते 18 दिसंबर को फैसला दिया था। फैसले में कहा था कि रतन टाटा का रवैया पक्षपातपूर्ण और दमनकारी था। मिस्त्री फिर से टाटा सन्स के चेयरमैन नियुक्त किए जाएं।
रतन टाटा ने ट्रिब्यूनल का फैसला खारिज करने की अपील की
रतन टाटा ने कहा है कि ट्रिब्यूनल का निष्कर्ष गलत है, यह केस के रिकॉर्ड के विपरीत है। फैसले में एक चुनिंदा बात का प्रचार किया गया, जबकि संबंधित तथ्य और रिकॉर्ड दबा दिए गए। रतन टाटा ने सुप्रीम कोर्ट से अपील की है कि ट्रिब्यूनल का फैसला खारिज किया जाए। टाटा सन्स भी गुरुवार को ट्रिब्यूनल के फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दे चुकी।
रतन टाटा से मतभेदों की वजह से मिस्त्री हटाए गए थे: रिपोर्ट्स
टाटा सन्स टाटा ग्रुप की होल्डिंग कंपनी है। टाटा सन्स के 66% शेयर टाटा ट्रस्ट के पास हैं। टाटा ट्रस्ट के चेयरमैन रतन टाटा हैं। वे 1991 से 2012 तक टाटा सन्स के भी चेयरमैन रहे थे। उनके रिटायरमेंट के बाद सायरस मिस्त्रीचेयरमैन नियुक्तहुए, लेकिन चार साल बाद ही हटा दिए गए। अलग-अलग रिपोर्ट्स के मुताबिक सायरस मिस्त्री निवेश के फैसलों मेंरतन टाटा के खिलाफ थे। उन्होंने रतन टाटा पर टाटा सन्स के कामकाज में दखल देने का आरोप भी लगाया था।
मिस्त्री ने टाटा सन्स के प्रबंधन में खामियों के आरोप लगाए थे
टाटा सन्स के बोर्ड ने 24 अक्टूबर 2016 को मिस्त्री को चेयरमैन पद से हटा दिया था। बोर्ड के सदस्यों का कहना था कि मिस्त्री पर भरोसा नहीं रहा। इसके बाद रतन टाटा अंतरिम चेयरमैन बने थे। जनवरी 2017 में एन चंद्रशेखरन एग्जीक्यूटिव चेयरमैन बना दिए गए। मिस्त्री ने चेयरमैन के पद से हटाने के फैसले को नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल (एनसीएलटी) में चुनौती दी थी। उन्होंने टाटा सन्स के प्रबंधन में खामियों और अल्प शेयरधारकों को दबाने के आरोप लगाए थे। हालांकि, एनसीएलटी ने पिछले साल जुलाई में टाटा सन्स के पक्ष में फैसला दिया था। इसके बाद मिस्त्री अपीलेट ट्रिब्यूनल पहुंचे थे। मिस्त्री अभी अपने परिवार के कारोबारी समूह की फर्म शपूरजी पलोंजी एंड कंपनी के एमडी हैं। मिस्त्री परिवार के पास टाटा सन्स के 18.4% शेयर हैं।